बांस के पुल के सहारे जिंदगी: जान हथेली पर रखकर आवागमन करने को मजबूर; सालों से ग्रामीणों की पक्के पुल की मांग अनसुनी Newshindi247

बांस के पुल के सहारे जिंदगी: जान हथेली पर रखकर आवागमन करने को मजबूर; सालों से ग्रामीणों की पक्के पुल की मांग अनसुनी Letest Hindi News

कवर्धा14 मिनट पहले

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जान हथेली पर रखकर लोग इस बांस के पुल से आवागमन कर रहे हैं। 

कवर्धा जिले के गोरखपुर खुर्द में ग्रामीण बांस का पुल बनाकर आने-जाने को मजबूर हैं। ग्रामीणों ने शासन-प्रशासन से कई बार पुल की मांग की, लेकिन उनकी मांगों को हमेशा नजरअंदाज किया गया। अब अपनी जान हथेली पर रखकर लोग इस बांस के पुल से आवागमन कर रहे हैं।

कवर्धा मुख्यालय से 25 किलोमीटर दूर ग्राम गोरखपुर खुर्द और उसलापुर के बीच ग्रामीणों ने बांस का पुल बनाया है। ग्रामीणों की मानें तो दोनों गांव के बीच एक नदी पर स्टॉप डैम बनाया गया है। इसी के ऊपर उन्होंने आपस में राशि इकट्ठा कर बांस के सहारे पुल बनाए हैं, जो हर साल बाढ़ में बह जाती है। बाढ़ का पानी जैसे ही कम होता है, ग्रामीण फिर से बांस का नया पुल बनाते हैं। पिछले 3 वर्षों से यही हालात बनी हुई है।

ग्रामीण महिलाएं बांस के पुल के जरिए रास्ता तय करती हुईं। सामान भी वे इसी के सहारे ले जाती हैं।

ग्रामीण महिलाएं बांस के पुल के जरिए रास्ता तय करती हुईं। सामान भी वे इसी के सहारे ले जाती हैं।

जोखिम भरे इस जुगाड़ के पुल से ही ग्रामीण अपना राशन लेने, किसान खाद लेने और फसल ढोते हैं। इसके अलावा छात्र-छात्राएं भी यहीं से आवागमन करते हैं। ग्रामीण बताते हैं कि यहां कई बार हादसे भी हो चुके हैं। ग्रामीण अपना जरूरी सामान व बाजार रामपुर से पूरा करते हैं और रामपुर जाने के लिए सिर्फ यही एक मार्ग है। दूसरा मार्ग जो है, वहां से आवागमन करने के लिए 12 किलोमीटर की अधिक दूरी तय करना होता है। वहीं नाराज ग्रामीण कहते हैं कि आगामी विधानसभा चुनाव में कांग्रेस हो या भाजपा जब तक पुल नहीं बनेगा, तक तक किसी को मतदान नहीं करेंगे। लोगों ने कहा कि वे चुनाव के बहिष्कार करने का मन बना चुके हैं।

लोगों ने आपस में चंदा कर बांस का पुल बनाया है, जिससे वे गुजरकर आवागमन करते हैं।

लोगों ने आपस में चंदा कर बांस का पुल बनाया है, जिससे वे गुजरकर आवागमन करते हैं।

ऐसा नहीं है कि ग्रामीणों ने अपने इस हालात से अधिकारी व जनप्रतिनिधियों को अवगत नहीं कराया हो। पूर्व की बीजेपी सरकार हो या वर्तमान की कांग्रेस सरकार, पिछले 7-8 वर्षों से ग्रामीण अपनी समस्याएं जनप्रतिनिधियों से लेकर प्रशासन तक को बता रहे हैं, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हो रही। लोगों ने कई बार पक्का पुल बनाने की मांग की, लेकिन किसी ने मांगों पर ध्यान नहीं दिया।

पक्का पुल नहीं होने के कारण लोगों को हो रही है भारी समस्याएं।

पक्का पुल नहीं होने के कारण लोगों को हो रही है भारी समस्याएं।

वहीं भाजपा जिलाध्यक्ष अनिल ठाकुर ने कांग्रेस सरकार पर आरोप लगाया है। उनका कहना है कि सत्ता में आने के लिए कांग्रेस ने कई घोषणाएं कीं, लेकिन जब से सत्ता में आई है, एक भी वादा पूरा नहीं किया। वहीं कांग्रेस जिलाध्यक्ष नीलकंठ चन्द्रवंशी का कहना है कि उन्हें मामले की जानकारी नहीं थी। अब वे खुद यहां का जायजा लेने के लिए जाएंगे और मंत्रियों के सामने पुल निर्माण की मांग रखेंगे।

बांस के पुल से जान हथेली पर रखकर गुजरती महिलाएं।

बांस के पुल से जान हथेली पर रखकर गुजरती महिलाएं।

कवर्धा कलेक्टर जनमेजय महोबे से पक्के पुल के बारे में पूछने पर उन्होंने जांच का आश्वासन दे डाला। कुल मिलाकर अभी भी मामला जांच, आश्वासनों और वादों पर ही टिका हुआ है और इधर लोग परेशान हो रहे हैं।

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Post Credit :- www.bhaskar.com
Date :- 2023-03-18 11:48:56

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