नई दिल्ली. भारतीय फिल्म इंडस्ट्री में कई बार देखा गया है कि लोगों को काफी मेहनत के बाद मुकम्मल जहां मिला है, जिसके लिए उन्होंने काफी मेहनत की और जिन्होंने की सफलता ने उनके कदम चूम लिए. बॉलीवुड में यूं तो कई सफल स्टार्स, प्रोड्यूर्स और डायरेक्टर्स की कहानियां हैं, लेकिन एक फिल्ममेकर ऐसा है, जिसने 26 साल की उम्र में पहली ब्लॉकबस्टर फिल्म दे डाली थी. पिता की मौत के बाद सबकुछ बदल तो गया था, लेकिन खुद पर विश्वास ने उस सितारे को ‘जौहर’ बना दिया.
ये वो फिल्ममेकर हैं, जिन्होंने फिल्मों में एक्टिंग की, फिल्मों को प्रोड्यूस किया, फिल्मों के डायरेक्शन की भी कमान संभाली और अपने बड़े प्रोडक्शन हाउस को संभालकर अपने पिता का सपना भी पूरा कर रहे हैं. अब तो शायद आप समझ ही गए होंगे कि आखिर हम बात किसकी कर रहे हैं. 25 मई 1972 को निर्माता यश जौहर के घर एक बेटे का जन्म हुआ, जिसको नाम दिया गया राहुल कुमार जौहर. जिनको आप और हम करण जौहर के नाम से जानते हैं. फिल्म इंडस्ट्री में ही उन्हें काम करना है. इस बात को वह बचपन से जानते थे. लेकिन उनकी जिंदगी तब पूरी तरह से पलट गई जब साल 2004 में उनके पिता उन्हें हमेशा के लिए अलविदा कह गए.
अकेला बैठे जब करण सोच रहे थे कैसे संभलेगा सबकुछ
आज सुपर कूल दिखने वाले करण जौहर के लिए उनके पिता का जाना, जैसे सबकुछ बिखरने जैसा था. हाल ही में एक इंटरव्यू के दौरान उन्होंने वो पल याद किए और बताया कैसे उन्होंने धर्मा प्रोडक्शन को फिर से खड़ा किया. बातचीत के दौरान करण ने स्वीकार किया कि जब उनके पिता जीवित थे, तब उन्हें धर्मा प्रोडक्शंस के मनी और फाइनेंस के बारे में कोई जानकारी नहीं थी. करण ने बताया, ‘मेरे पिता के निधन के चौथे दिन, हमने एक प्रार्थना सभा रखी और मैं ऑफिस वापस आकर बिल्कुल अकेला बैठा और सोच रहा था कि मैं इस कंपनी को कैसे संभालूंगा? मुझे ये भी नहीं पता कि मेरा पैसा कहां है. मुझे कभी इस बारे में पूछने की जरूरत ही नहीं हुई, क्योंकि मेरे पिता ने मेरी मां और मेरे लिए सब कुछ किया.
‘पंजाबी पापा’ ने बेटे को दी ‘बाइबल’
फिल्ममेकर ने आगे बताया कि पिता के निधन के चौथे दिन मुझे उनकी एक खत मिला, जो 5-6 पन्नों का था. मेरे लिए वो बाइबल थी. यह एक व्यावसायिक चिट्ठी थी, जिसमें मेरे पिता ने मुझे म्यूचुअल फंड, निवेश और उन लोगों का जिक्र किया था, जिन पर मैं भरोसा कर सकता हूं. उसमें बताया था कि आपके म्यूचुअल फंड, आपके निवेश के संदर्भ में धन कहां था और उन लोगों का भी जिक्र किया था, जिनपर भरोसा नहीं कर सकते और किस तरह से बिजनेस आगे बढ़ाना चाहिए. इसमें बैंक खातों और पैसा कहां है, संपत्ति निवेश कहां है, इसके बारे में विस्तृत बातें उन्होंने लिखी थी. करण ने कहा कि ये एक तरह से मेरी बाइबिल बन गई.
जब अधर में लटक गया था धर्मा प्रोडक्शन
करण जौहर ने फिर कहा कि उन्होंने अपने बचपन के दोस्त और अब धर्मा प्रोडक्शंस के सीईओ और निर्माता अपूर्व मेहता को फोन किया, जिन्होंने लंदन से वापस आने का फैसला किया और उसकी मदद की. उन्होंने बताया कि एक मोड़ ऐसा भी आया, जब धर्मा प्रोडक्शन एक स्टार्ट-अप की तरह चला गया. हमें पता नहीं था कि फिल्म कैसे बेचनी है. हम काम पर सीख रहे थे. गलतियां करना और हमारे पास केवल एक चीज थी कंपनी के प्रति गहरी प्रतिबद्धता और इसे आगे ले जाने के लिए भरपूर जुनून.
शाहरुख खान ने जब करण जौहर को दी थी सलाह
करण जौहर ने उस सलाह को भी याद किया जो शाहरुख खान ने उन्हें दी थी, जब वह ‘काल’ के निर्माण को लेकर दुविधा में थे. उन्होंने कहा, ‘मुझे याद है कि मैंने 2004 में अपनी यात्रा शुरू की थी. हम ‘काल’ नामक एक फिल्म बना रहे थे. उस वक्त मुझे लगा कि शायद हमें इसे नहीं बनाना चाहिए और, मुझे याद है कि शाहरुख खान (फिल्म के निर्माताओं में से एक) ने मुझे फोन किया और कहा कि वास्तव में ये एक छोटी फिल्म है और आपको इसे बनाना चाहिए. गलतियां करें और उनसे सीखें.
करण जौहर ने बनाई कई सुपरहिट फिल्में
करण जौहर ने कई सुपरहिट फिल्में बनाई है जिसमें ‘कुछ कुछ होता है’, ‘ऐ दिल है मुश्किल’, ‘कभी अलविदा ना कहना’, ‘कभी खुशी कभी गम’, शामिल हैं. इन फिल्मों ने बॉक्स ऑफिस पर धमाल मचा दिया था. करण जौहर लंबे समय बाद डायरेक्शन में ‘रॉकी और रानी की प्रेम कहानी’ के साथ उतरे, जिसको लोगों का प्यार मिल रहा है.