नई दिल्ली. बॉलीवुड फिल्मों में कभी बाप, कभी भाई, तो कभी हीरो तो कभी विलेन बनकर सुरेश ओबेरॉय (Suresh Oberoi) ने दर्शकों का खूब मनोरंजन किया है. हालांकि उनकी कभी बतौर लीड एक्टर वाली फिल्म नहीं आई वो हमेशा साइड एक्टर ही बनकर रह गए. मगर जो भी हो सुरेश ओबेरॉय अपने छोटे से ही रोल से दर्शकों पर छा जाते थे. बेहद कम टाइम स्पेस में वह फिल्मों की पूरी लाइम लाइट लूट लिया करते थे. उन्होंने कई फिल्मों में रोल प्ले कर अपने जमाने के कई स्टार्स को मात दी है. मगर आपको जानकर अफसोस होगा कि इस टैलेटेंड एक्टर की लाइफ में कई ऐसे भी मोड़ आए, जब छोटे-से लेकर बड़े रोल तक उनकी हाथों आए लेकिन उसे छीन कर किसी और दे दिया गया. कुछ ऐसा किस्सा साल 1985 में रिलीज हुई सुपरहिट फिल्म ‘युद्ध’ (Yudh) की शूटिंग के दौरान भी हुआ.
साल 1985 में रिलीज हुई सुपरहित फिल्म से ‘युद्ध’ (Yudh) डायरेक्टर सहित फिल्म से जुड़े सभी सितारों की किस्मत चमक गई थी. फिल्म ‘अंदर बाहर’ के बाद जैकी श्रॉफ (Jackie Shroff) और अनिल कपूर (Anil Kapoor) की दूसरी सबसे ज्यादा कमाई करने वाली फिल्मों में से एक थी. इस फिल्म को डायरेक्टर राजीव राय ने निर्देशित किया था. जैकी- अनिल कपूर के अलावा टीना मुनीम, प्राण,डैनी डेन्जोंगपा, नूतन और अरुण गोविल भी ने फिल्म में शानदार काम किया था.
बयान करियर पर पड़ा भारी
आईएमबीडी की एक रिपोर्ट् के मुताबिक, डायरेक्टर राजीव राय ने ‘युद्ध’ के लिए एक बेहद खास रोल का ऑफर सुरेश ओबेरॉय को दिया था. सुरेश उस रोल के लिए हामी भर चुके थे. लेकिन आखिरी वक्त में उन्हें फिल्म से बाहर कर दिया गया था. रिपोर्ट्स में आगे बताया गया है कि जब फिल्म मेकिंग पर काम चल रहा था, तब उस समय एक इंटरव्यू में सुरेश ने बॉलीवुड में लॉन्च हो रहे नई पीढ़ी को लेकर एक इंटरव्यू में एक विवादित बयान दे दिया था. जिसमें उन्होंने कहा था, ‘उन्हें स्टार पुत्रों की नई खेप से कोई डर नहीं लगता’. एक्टर के इस बयान से फिल्म के प्रोड्यूसर गुलशन राय जो कि डायरेक्टर राजीव राय के पिता भी थे, को सुरेश की ये बात अच्छी नहीं लगी. उन्होंने इतनी सी बात के लिए सुरेश ओबेरॉय को फिल्म से बाहर कर दिया और उनकी जगह अरुण गोविल को ले लिया. याद दिला दें कि ‘युद्ध’ में अरुण गोविल ने पुलिस इंस्पेक्टर भार्गव का किरदार निभाया था. अरुण ने इस फिल्म में जैकी श्रॉफ के बचपन के पिता की भूमिका में थे.
सुरेश ओबेरॉय की फिल्में
कहा जाता है कि इस फिल्म के बाहर होने के बाद सुरेश के करियर पर काफी असर पड़ा था. उनका स्टारडम उनके बयान से काफी खराब भी हुआ था. हालांकि एक वक्त के बात सब कुछ ठीक हो गया और सुरेश फिर अपने रुतबे में लौट आए. बता दें कि सुरेश एक्टर विवेक ओबेरॉय के पिता है. सुरेश अब भले कम फिल्में करते हैं लेकिन वह अभी भी फिल्मों में एक्टिव हैं. इसके साथ ही वह अब अब फिल्में प्रोड्यूस भी करते हैं. बता दें कि सुरेश ‘फिर वही रात’, ‘लावारिस’, ‘एक नई पहेली’ ,’ कानून क्या करेगा’, ‘शराबी’ , ‘ऐतबार’, ‘बेपनाह और जवाब’, ‘पाले खान’ , ‘डकैत’ , ‘तेजाब’, ‘दो कैदी’, ‘परिंदा’, ‘मुजरिम’, ‘आज का अर्जुन’, ‘प्यार का देवता’ ‘तिरंगा’, ‘अनाड़ी’, ‘विजयपथ’, ‘मासूम’, ‘राजा हिंदुस्तानी’, ‘सोल्जर’, ‘सफारी’, ‘गदर एक प्रेम कथा’ , ‘लज्जा’, ‘प्यार तूने क्या किया’ ‘शहीद’ जैसी फिल्मों के लिए फेमस हैं.